पहले नवरात्र पर बुधवार शाम और देर रात तक कुट्टू के आटे से बनी रोटियां और अन्य पकवान खाना श्रद्धालुओं पर भारी पड़ गया। बुधवार रात से बृहस्पतिवार दोपहर तक 300 से अधिक लोग बीमार होकर अस्पतालों पहुंच चुके थे। कुट्टू के आटे और सामक बने पकवान खाने से लोगों को उल्टी-दस्त, जी मिचलाना और चक्कर आने लगे। नागरिक अस्पताल की एमरजेंसी में थोड़ी-थोड़ी देर बाद आठ-10 मरीज पहुंच रहे थे। वहीं 100 के करीब मरीज निजी अस्पताल में भर्ती थे।
दिन निकलते ही जिला प्रशासन में हड़कंप मच गया। इसके बाद अधिकारी नींद से जागे और एक कमेटी बनाकर सीएम फ्लाइंग और खाद्य सुरक्षा अधिकारी ने शहर में कई जगह छापेमारी की। कुट्टू, सामक व सिंघाड़े को पीसकर आटा बनाने वाली चक्की भी पकड़ी गई। शहर की अधिकतर दुकानों पर यहीं से आटा सप्लाई होता था। वहीं नेताओं ने अस्पताल पहुंचकर मरीजों का हाल जाना। उधर दुकानदारों ने पुराने आटे को नष्ट करते हुए अब आटा नहीं बेचनेे का फैसला लिया।लोगों के बीमार होने के बाद त्योहारी सीजन में एफएसओ की छापेमारी चलने और बाद में सालभर बंद रहने पर सवाल उठते रहे।
कुट्टू के आटे से बने पकवान से खोला था व्रत
नवरात्र के पहले दिन बुधवार को दिनभर व्रत रखने के बाद व्रतियों व अन्य श्रद्धालुओंं ने कुट्टू और सामक के आटे से बनी रोटियों व अन्य पकवानों खाकर व्रत खोले। जीवन नगर और माडल टाउन में व्रत खोलने के बाद लोगों की तबीयत खराब होनी शुरू हो गई। दोनों इलाकों से 5-10 के समूह में लोग नागरिक अस्पताल की एमरजेंसी मेंं पहुंचने लगे। लोगों को कुट्टू और सामक के आटे से बने पकवान खाने से उल्टी-दस्त, जी मितलाना और चक्कर आने की समस्या हो रही थी। डाक्टरों ने मरीजों को भर्ती कर इलाज किया।
एमरजेंसी में सुबह अधिक मरीज पहुंचने से कई अन्य डाक्टरों को फोन कर एमरजेंसी में तैनात किया गया। डाक्टरों ने एक-दो घंटे मरीजों को निगरानी में रखने के बाद और तबीयत में थोड़ा सुधार होने के बाद उन्हें दवा देकर घर भेज दिया। दोपहर 12 बजे तक नागरिक अस्पताल की एमरजेंसी में 200 के करीब मरीज पहुंच चुके थे। वहीं कुछ मरीजों ने निजी अस्पतालों में भर्ती हो गए। ट्यूलिप अस्पताल में दोपहर तक 100 के करीब मरीज भर्ती थे
प्रशासन में मचा हड़कंप
इतने लोगों के एकसाथ बीमार होने से जिला प्रशासन में हड़कंप मच गया। जिला उपायुक्त ललित सिवाच ने एक सीटीएम की अध्यक्षता में एक कमेटी बनाकर छापेमारी के आदेश जारी कर दिए। इसके बाद सीएम फ्लाइंग और खाद्य सुरक्षा विभाग ने छापाकर औद्योगिक क्षेत्र में एक आटा चक्की पकड़ी। यहां से भारी मात्रा में कुट्टू, सामक और सिंघाड़े का आटा बरामद किया गया।
टीमों ने सैंपल लेकर जांच के लिए भेज दिए हैं। वहीं नेताओं ने अस्पताल पहुंचकर मरीजों का हाल जाना। दूरी ओर दुकानदारों में भी हड़कंप मचा रहा। शहर के दुकानदारों ने बैठककर दुकानों पर मौजूद पुराना आटा नष्ट करने और भविष्य में कुट्टू, सामक व सिंघाड़े का आटा नहीं बेचने का फैसला लिया। दुकानदारों ने साबुत कुट्टू, सामक और सिंघाड़े ही बेचने का निर्णय लिया।
मामले को लेकर क्या बोले जिला उपायुक्त
कुट्टू और सामक के आटे से बने खाद्य पदार्थ खाने से लोगों की तबीयत खराब होने की सूचना मिलने पर अधिकारियों को तुरंत बचाव कार्य शुरू करने के आदेश जारी कर दिए थे। सीएमओ को मरीजों के इलाज, खाद्य सुरक्षा अधिकारी को तुरंत दुकानों पर जाकर जांच के लिए कहा था। अधिकारियों ने छापेमारी के बाद सैंपल लेकर प्रयोगशाला में भेजे हैं। लोगों से अपील की गई है कि पुराना व खुला आटा इस्तेमाल न करें।
– ललित सिवाच, जिला उपायुक्त, सोनीपत